उत्तराखंड: बेहद दर्दनाक हादसा सिमडी, पौड़ी जिले में बस के खाई में गिरने से दुल्हे के 28 रिश्तेदारों और 4 बैंड वालों की मौत, कई परिवार बिखरें, देखें सूची
उत्तराखंड: बीते कुछ दिनों से उत्तराखंड में हादसे थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। उत्तराखंड के पौड़ी जिले के वीरोंखाल इलाके में एक बस लालढांग से वीरोंखाल के एक गांव की ओर जा रही थी, तभी सिमरी मोड़ के पास दुर्घटना हो गई। हादसा मंगलवार, शाम करीब साढ़े सात बजे हुआ । स्थानीय लोगों की मदद से बचाव कार्य शुरू किया गया ।
बताना चाहेंगे कि उक्त बस में सवार यात्री बारात में गए थे जोकि लालढांग हरिद्वार से काड़ागांव वापिस आ रहे थे, जिसमें लगभग 50 लोग सवार थे। वीरोंखाल से आगे सिमड़ी गांव के पास मोड़ काटते समय बस अचानक अनियंत्रित होकर 200 से 250 मीटर गहरी खाई में दुर्घटनाग्रस्त हो गयी।
सूत्रों के अनुसार उत्तराखंड के पौड़ी जिले के वीरोंखाल इलाके में मंगलवार शाम को एक शादी समारोह के 50 सदस्यों को ले जा रही एक बस खाई में गिर गई, जिसमें 32 लोगों की मौत हो गई जबकि 18 लोग घायल है। अभी तक 24 शवों के निकाल लिया गया है। मृतकों में दुल्हे संदीप के बडे भाई कुलदीप, बहन सतेश्ववरी देवी, 11 साल का भतीजा सचिन पुत्र कुलदीप सहित मामा के परिवार सहित अन्य 28 रिश्तेदारों की मौत हुई है। इनमें चार बच्चे व छह महिलाएं भी शामिल हैं।
चार बैंड वालों की भी हुई मौत :
बैंड वालों में इस्तियाक पुत्र मुस्ताक, अनीष पुत्र सुक्के निवासी मंडावली बिजनौर, इलियास पुत्र रहीसु निवासी नारायणपुर बिजनौर और विशाल पुत्र बाबू निवासी जालपुर बिजनौर यूपी शामिल हैं।
धामी ने कोटद्वार बेस अस्पताल में घायलों के परिवारजनों से मुलाकात की:
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को कोटद्वार बेस अस्पताल में सिमड़ी, पौड़ी में हुई बस दुर्घटनाग्रस्त में घायल हुए लोगों का हालचाल जाना । उनके साथ पूर्व मुख्यमंत्री एवं सांसद डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक भी मौजूद थे। मुख्यमंत्री ने कोटद्वार बेस अस्पताल में घायलों के परिवारजनों से मुलाकात कर कहा कि घायलों के ईलाज के लिये सरकार द्वारा पूरी व्यवस्था की गई है। मुख्यमंत्री ने अस्पताल में भर्ती घायलों के बारे में डाक्टरों से पूरी जानकारी ली।
मुख्यमंत्री ने सिमड़ी, पौड़ी बस दुर्घटना में फर्स्ट रेस्पांडर के रूप में घटना स्थल पर पहुंचे ग्रामीणों का भी आभार व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि सबसे पहले आस-पास के ग्रामीण पहुँचे और उन्होंने घायलों को बाहर निकालने में मदद की। मुख्यमंत्री ने डीएम पौड़ी को निर्देशित किया है कि जिन ग्रामीणों ने आपदा की घड़ी में घायलों को और मृतकों को बाहर निकालने में मदद किया है उनकी सूची बनाकर उनको भी प्रोत्साहित करने हेतु प्रोत्साहन धनराशि प्रदान की जाए। साथ ही मृतकों के परिजनों को दो दो लाख रुपए के मुआवजे का ऐलान किया है। हालांकि, इस पर स्थानीय लोग मुआवजा बहुत कम बता रहे है। कम से कम पांच लाख रुपए मृतकों के परिवारों केा दिए जाने चाहिए, ऐसा लोगों कहना था ।